1.
वो ख्वाहिशें तमाम
अपनी ही थी
जो खाक कर गई
हमें पूरी होने से पहले ..
2.
कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
अब तो हर गाँठ नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
3.
ये लिखे शब्द वही जुबां है
जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!
वो ख्वाहिशें तमाम
जवाब देंहटाएंअपनी ही थी
जो खाक कर गई.........
हमें पूरी होने से पहले ..गहन अभिव्यक्ति..........
बेहद भावपूर्ण रचना, बधाई
जवाब देंहटाएंबहुत खूब ,,,
जवाब देंहटाएंकितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
अब तो हर गाँठ नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
क्या बात है...
शानदार....
:-)
अब तो हर गाँठ नजर आती है
जवाब देंहटाएंकी कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
वाह....
बहुत सुन्दर
अनु
कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
जवाब देंहटाएंलम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
अब तो हर गाँठ नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...कुछ इस तरह ज़िन्दगी को हमने जीया
बढ़िया प्रस्तुति ...
जवाब देंहटाएं
जवाब देंहटाएंये लिखे शब्द वही जुबां है
जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!
खूब कहा ....
बहुत ही लाजवाब लिखा है आपने...
जवाब देंहटाएंसभी एक से बढ़कर एक...
बहुत बढियां...
कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
अब तो हर गाँठ नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
शानदार....
:-)
Reena Maurya ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:
जवाब देंहटाएंबहुत ही लाजवाब लिखा है आपने...
सभी एक से बढ़कर एक...
बहुत बढियां...
कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
अब तो हर गाँठ नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
शानदार....
:-)
ये लिखे शब्द वही जुबां है
जवाब देंहटाएंजो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!! वह: बहुत खुबसूरत भाव..
expression ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:
जवाब देंहटाएंअब तो हर गाँठ नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
वाह....
बहुत सुन्दर
अनु
संगीता स्वरुप ( गीत ) ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:
जवाब देंहटाएंबढ़िया प्रस्तुति ...
रश्मि प्रभा... ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:
जवाब देंहटाएंकितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
अब तो हर गाँठ नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...कुछ इस तरह ज़िन्दगी को हमने जीया
बहुत खूब आशा जी
जवाब देंहटाएंसादर
ये लिखे शब्द वही जुबां है
जवाब देंहटाएंजो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!waah
बहुत सुन्दर दूसरा वाला सबसे बढ़िया ।
जवाब देंहटाएंबहुत ही सुन्दर आशाजी ...हर रचना भीतर गहरे उतरती हुई !!!
जवाब देंहटाएंये लिखे शब्द वही जुबां है
जवाब देंहटाएंजो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!
बहुत सुंदर प्रस्तुति आशा जी.
बहुत सुंदर पोस्ट |
जवाब देंहटाएंमेरे ब्लॉग में पधारें और जुड़ें |
मेरा काव्य-पिटारा
ये लिखे शब्द वही जुबां है
जवाब देंहटाएंजो तुझे देखकर चुप हो जाती है
..बहुत सही ...
ये लिखे शब्द वही जुबां है
जवाब देंहटाएंजो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!
बहुत खुबसूरत भाव.....आशा जी
***********************************************
जवाब देंहटाएंधन वैभव दें लक्ष्मी , सरस्वती दें ज्ञान ।
गणपति जी संकट हरें,मिले नेह सम्मान ।।
***********************************************
दीपावली पर्व की हार्दिक शुभकामनाएं
***********************************************
अरुण कुमार निगम एवं निगम परिवार
***********************************************
बेह्तरीन अभिव्यक्ति .बहुत अद्भुत अहसास.सुन्दर प्रस्तुति.
जवाब देंहटाएंदीपावली की हार्दिक शुभकामनाये आपको और आपके समस्त पारिवारिक जनो को !
मंगलमय हो आपको दीपो का त्यौहार
जीवन में आती रहे पल पल नयी बहार
ईश्वर से हम कर रहे हर पल यही पुकार
लक्ष्मी की कृपा रहे भरा रहे घर द्वार..