फ़ॉलोअर

शनिवार, 20 अक्तूबर 2012

आधे अधूरे ..( 2)

 
1.
वो ख्वाहिशें तमाम
  अपनी  ही थी
जो खाक कर गई
 हमें पूरी होने से पहले ..

2.
कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
अब तो हर गाँठ   नजर आती है
की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...

3.
ये लिखे शब्द वही जुबां है 
जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!

23 टिप्‍पणियां:

  1. वो ख्वाहिशें तमाम
    अपनी ही थी
    जो खाक कर गई.........
    हमें पूरी होने से पहले ..गहन अभिव्यक्ति..........

    जवाब देंहटाएं
  2. बहुत खूब ,,,
    कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
    लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
    अब तो हर गाँठ नजर आती है
    की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
    क्या बात है...
    शानदार....
    :-)

    जवाब देंहटाएं
  3. अब तो हर गाँठ नजर आती है
    की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...

    वाह....
    बहुत सुन्दर

    अनु

    जवाब देंहटाएं
  4. कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
    लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
    अब तो हर गाँठ नजर आती है
    की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...कुछ इस तरह ज़िन्दगी को हमने जीया

    जवाब देंहटाएं

  5. ये लिखे शब्द वही जुबां है
    जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!
    खूब कहा ....

    जवाब देंहटाएं
  6. बहुत ही लाजवाब लिखा है आपने...
    सभी एक से बढ़कर एक...
    बहुत बढियां...
    कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
    लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
    अब तो हर गाँठ नजर आती है
    की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
    शानदार....
    :-)

    जवाब देंहटाएं
  7. Reena Maurya ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:

    बहुत ही लाजवाब लिखा है आपने...
    सभी एक से बढ़कर एक...
    बहुत बढियां...

    कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
    लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
    अब तो हर गाँठ नजर आती है
    की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...
    शानदार....
    :-)

    जवाब देंहटाएं
  8. ये लिखे शब्द वही जुबां है
    जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!! वह: बहुत खुबसूरत भाव..

    जवाब देंहटाएं
  9. expression ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:

    अब तो हर गाँठ नजर आती है
    की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...

    वाह....
    बहुत सुन्दर

    अनु

    जवाब देंहटाएं
  10. संगीता स्वरुप ( गीत ) ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:

    बढ़िया प्रस्तुति ...

    जवाब देंहटाएं
  11. रश्मि प्रभा... ने आपकी पोस्ट " आधे अधूरे ..( 2) " पर एक टिप्पणी छोड़ी है:

    कितनी फितरतों ने साथ छोड़ा
    लम्हों ने हर मोड़ पर मुंह मोड़ा
    अब तो हर गाँठ नजर आती है
    की कितनी बार हमने खुद को जोड़ा ...कुछ इस तरह ज़िन्दगी को हमने जीया

    जवाब देंहटाएं
  12. ये लिखे शब्द वही जुबां है
    जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!waah

    जवाब देंहटाएं
  13. बहुत सुन्दर दूसरा वाला सबसे बढ़िया ।

    जवाब देंहटाएं
  14. बहुत ही सुन्दर आशाजी ...हर रचना भीतर गहरे उतरती हुई !!!

    जवाब देंहटाएं
  15. ये लिखे शब्द वही जुबां है
    जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!

    बहुत सुंदर प्रस्तुति आशा जी.

    जवाब देंहटाएं
  16. बहुत सुंदर पोस्ट |
    मेरे ब्लॉग में पधारें और जुड़ें |
    मेरा काव्य-पिटारा

    जवाब देंहटाएं
  17. ये लिखे शब्द वही जुबां है
    जो तुझे देखकर चुप हो जाती है
    ..बहुत सही ...

    जवाब देंहटाएं
  18. ये लिखे शब्द वही जुबां है
    जो तुझे देखकर चुप हो जाती है ...!!
    बहुत खुबसूरत भाव.....आशा जी

    जवाब देंहटाएं
  19. ***********************************************
    धन वैभव दें लक्ष्मी , सरस्वती दें ज्ञान ।
    गणपति जी संकट हरें,मिले नेह सम्मान ।।
    ***********************************************
    दीपावली पर्व की हार्दिक शुभकामनाएं
    ***********************************************
    अरुण कुमार निगम एवं निगम परिवार
    ***********************************************

    जवाब देंहटाएं
  20. बेह्तरीन अभिव्यक्ति .बहुत अद्भुत अहसास.सुन्दर प्रस्तुति.
    दीपावली की हार्दिक शुभकामनाये आपको और आपके समस्त पारिवारिक जनो को !

    मंगलमय हो आपको दीपो का त्यौहार
    जीवन में आती रहे पल पल नयी बहार
    ईश्वर से हम कर रहे हर पल यही पुकार
    लक्ष्मी की कृपा रहे भरा रहे घर द्वार..

    जवाब देंहटाएं